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गृह मंत्री शाह को सहकारिता मंत्रालय भी सौंपा, यंग ब्रिगेड में सिंधिया को एविएशन और अश्विनी वैष्णव को रेल मंत्रालय दिया

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कैबिनेट विस्तार के 2 घंटे के भीतर ही प्रधानमंत्री मोदी ने नई टीम को विभागों का जिम्मा भी सौंपना शुरू कर दिया। सबसे पहले गृह मंत्री अमित शाह को सबसे नया मंत्रालय मिनिस्ट्री ऑफ कॉरपोरेशन, यानी सहकारिता मंत्रालय दिया गया है। हॉर्वर्ड से पढ़े ज्योतिरादित्य सिंधिया को एविएशन मिनिस्ट्री और IIT से पोस्ट ग्रैजुएट अश्विनी वैष्णव को रेल और सूचना प्रसारण मंत्रालय सौंपा गया है।

स्वास्थ्य मंत्रालय अब डॉ. हर्षवर्धन की जगह मनसुख मंडाविया संभालेंगे।

अब तक टीम को इतने विभाग बांटे

1. अमित शाह: मौजूदा मंत्रालयों के साथ नई बनी मिनिस्ट्री ऑफ कोऑपरेशन की जिम्मेदारी

2. पीयूष गोयल: वाणिज्य, उद्योग और कपड़ा मंत्रालय

3. अश्विनी वैष्णव: रेल और सूचना प्रसारण मंत्रालय

4. स्मृति ईरानी: महिला एवं बाल विकास मंत्रालय, स्वच्छ भारत मिशन की भी जिम्मेदारी

5. ज्योतिरादित्य सिंधिया: नागरिक उड्डयन मंत्रालय

6. पुरुषोत्तम रूपाला: डेयरी और फिशरीज मंत्रालय

7. अनुराग ठाकुर: खेल और युवक कल्याण मंत्रालय

8. गिरिराज सिंह: ग्रामीण विकास मंत्रालय

9. भूपेंद्र यादव: श्रम और पर्यावरण मंत्रालय

10. धर्मेंद्र प्रधान: शिक्षा मंत्रालय

11. हरदीप सिंह पुरी: पेट्रोलियम मंत्रालय, शहरी विकास और आवास मंत्रालय

12. पशुपति पारस: खाद्य प्रसंस्करण मंत्रालय

13. किरन रिजिजू: संस्कृति मंत्रालय

14. सर्बानंद सोनोवाल: आयुष मंत्रालय, उत्तर-पूर्व के मामलों की भी जिम्मेदारी

राज्यमंत्री

1. मीनाक्षी लेखी: विदेश और संस्कृति राज्यमंत्री

सरकार के विजन को जमीन पर उतारने का जिम्मा शाह को
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कैबिनेट विस्तार से पहले एक नया मंत्रालय मिनिस्ट्री ऑफ को-ऑपरेशन बनाया है। मोदी सरकार इस मंत्रालय के जरिए अपने ‘सहकार से समृद्धि’ के विजन को साकार करेगी। यह मंत्रालय देश में सहकारी आंदोलन को मजबूत करने के लिए अलग से प्रशासनिक, कानूनी और नीतिगत ढांचा उपलब्ध कराएगा।

मोदी सरकार ने मंगलवार को ही नई मिनिस्ट्री ऑफ कोऑपरेशन बनाई थी। एक दिन बाद ही गृह मंत्री अमित शाह को इसकी जिम्मेदारी सौंप दी गई है।
मोदी सरकार ने मंगलवार को ही नई मिनिस्ट्री ऑफ कोऑपरेशन बनाई थी। एक दिन बाद ही गृह मंत्री अमित शाह को इसकी जिम्मेदारी सौंप दी गई है।

इसका उद्देश्य देश में सहकारी आंदोलन को मजबूत करना है। सरकार इस मंत्रालय के जरिए सहकारी समितियों को जमीनी स्तर तक पहुंचाने का काम करेगी। सूत्रों ने कहा कि अलग सहकारिता मंत्रालय का गठन केंद्रीय वित्त मंत्री द्वारा की गई बजट घोषणा को भी पूरा करता है।

मंत्रालय सहकारी समितियों के लिए ‘व्यापार सुगमता’ यानी ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को आसान बनाएगा। साथ ही मल्‍टी-स्‍टेट को-ऑपरेटिव्‍ज (MSCS) के विकास को बेहतर करने के लिए काम करेगा।

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