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भारत की अंतरिक्ष में एक और कामयाबी / मंगलयान ने मंगल के सबसे बड़े चंद्रमा फोबोस की फोटो खींची, यान इस उपग्रह से 4200 किमी दूर से गुजरा

पृथ्वी से मंगल 12 करोड़ किमी दूर है, इसके 2 चंद्रमा फोबोस और डेमोज हैं मंगलयान ने जो फोटो ली है उसमें इस फोबोस के सभी बड़े क्रेटर दिखाई दे रहे हैं

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  • मंगलयान ने मंगल के चंद्रमा फोबोस की यही फोटो खींची है। इसमें बड़े क्रेटर (गड्‌ढे) भी दिख रहे हैं। इसमें सबसे बड़ा क्रेटर स्टिकनी है।मंगलयान ने मंगल के चंद्रमा फोबोस की यही फोटो खींची है। इसमें बड़े क्रेटर (गड्‌ढे) भी दिख रहे हैं। इसमें सबसे बड़ा क्रेटर स्टिकनी है

बेंगलुरु. भारत के मंगलयान ने मंगल के सबसे बड़े चंद्रमा फोबोस की तस्वीरें खीची हैं। यह फोटो मंगलयान में लगे मार्स कलर कैमरा (एमसीसी) से 1 जुलाई को खींची गईं। तस्वीरें लेते समय मंगलयान मंगल गृह से 7200 किलोमीटर और फोबोज से 4200 किलोमीटर दूर था। मंगल के दो चंद्रमा हैं। एक का नाम फोबोस और दूसरे का डेमोस है। मंगल की पृथ्वी से दूरी 12 करोड़ किलोमीटर है।

सबसे बड़ा क्रेटर भी देखा गया
इसरो के मुताबिक, इस फोटो में बड़े क्रेटर (गड्‌ढे) देखे जा सकते हैं। इसमें सबसे बड़ा क्रेटर स्टिकनी है। इसके अलावा तीन और क्रेटर स्लोवास्की, रोश और ग्रिलड्रिग हैं। ये क्रेटर आकाशीय पिंडों के टकराने से बने थे। माना जाता है कि फोबोज कार्बोनेसियस कोंड्राइट्स पदार्थ से बना है।

24 सितंबर 2014 को भेजा गया था मंगलयान
इसरो ने 24 सितबंर, 2014 को मार्स ऑर्बिटर मिशन के तहत मंगलयान को पहली कोशिश में ही मंगल की कक्षा में स्थापित किया था। पहले योजना थी कि इसे छह महीने तक ऑपरेट किया जाएगा। हालांकि, बाद में इसरो ने कहा कि इसमें पर्याप्त ईंधन है और यह कई सालों तक चल सकता है। इसरो ने 5 नवंबर 2013 को आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा से पीएसएलवी रॉकेट से यह प्रक्षेपण किया था। 450 करोड़ रुपए की लागत वाले इस मिशन को मंगल की सतह और वातावरण का अध्ययन करने के लिए भेजा गया था।

मंगलयान में पांच उपकरण लगे हैं
मंगलयान में पांच उपकरण लेमैन अल्फा फोटोमीटर (एलएपी), मीथेन सेंसर फॉर मार्स (एमएसएम), मार्स एक्सोफेरिक न्यूट्रल कंपोजीशन एनालाइजर (एमईएनसीए), मार्स कलर कैमरा (एमसीसी) और थर्मल इंफ्रारेड इमेजिंग स्पेक्ट्रोमीटर (टीआईएस) लगाए गए हैं।

 

 

 

 

बेंगलुरु. भारत के मंगलयान ने मंगल के सबसे बड़े चंद्रमा फोबोस की तस्वीरें खीची हैं। यह फोटो मंगलयान में लगे मार्स कलर कैमरा (एमसीसी) से 1 जुलाई को खींची गईं। तस्वीरें लेते समय मंगलयान मंगल गृह से 7200 किलोमीटर और फोबोज से 4200 किलोमीटर दूर था। मंगल के दो चंद्रमा हैं। एक का नाम फोबोस और दूसरे का डेमोस है। मंगल की पृथ्वी से दूरी 12 करोड़ किलोमीटर है।

सबसे बड़ा क्रेटर भी देखा गया
इसरो के मुताबिक, इस फोटो में बड़े क्रेटर (गड्‌ढे) देखे जा सकते हैं। इसमें सबसे बड़ा क्रेटर स्टिकनी है। इसके अलावा तीन और क्रेटर स्लोवास्की, रोश और ग्रिलड्रिग हैं। ये क्रेटर आकाशीय पिंडों के टकराने से बने थे। माना जाता है कि फोबोज कार्बोनेसियस कोंड्राइट्स पदार्थ से बना है।

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